Sarita Mishraa Paathak"Kaavya"
मैं एक लेखिका और संपादिका हूं।
मेरी साझा संकलन में लगभग 500+ पुस्तकों में कविताएं और कुछ लघुकथाएं, एवं लेख" प्रकाशित हुए हैं।
मेरी कविताओं की कई एकल ( सोलो ) बुक भी प्रकाशित हुई हैं।
और मेरा एक लेखन संगठन भी है जो भारत सरकार द्वारा रजिस्टर्ड है मेरा स्वयं का भी प्रकाशन है जो कि...More
Sarita Mishraa Paathak"Kaavya"
मैं एक लेखिका और संपादिका हूं।
मेरी साझा संकलन में लगभग 500+ पुस्तकों में कविताएं और कुछ लघुकथाएं, एवं लेख" प्रकाशित हुए हैं।
मेरी कविताओं की कई एकल ( सोलो ) बुक भी प्रकाशित हुई हैं।
और मेरा एक लेखन संगठन भी है जो भारत सरकार द्वारा रजिस्टर्ड है मेरा स्वयं का भी प्रकाशन है जो कि "निष्कर्ष" पब्लिकेशन का यूनिट" है।
मैंने कई पुस्तकों का संपादन भी किया है दूसरे पब्लिकेशन में और स्वयं के पब्लिकेशन में भी कई पुस्तकों का संपादन किया है।
मेरे पब्लिकेशन से भी कई पुस्तकें प्रकाशित हुईं हैं।
मैं अपने लेखन संगठन, एवं प्रकाशन की संस्थापिका एवं संचालिका भी हूं।
मैं सर्टीफाईड न्यूमरोलाॅजिस्ट, और ऑस्टोलोजर, और टैरो कार्ड की रीडर भी हूं।।
मैं ऑनलाइन लेखन ऐप्स से भी जुड़ी हुई हूं और वहां पर मेरे लेखन कार्य में मैं लिखती हूं।
Book Summary
सारांश:
यह कविता स्वतंत्रता दिवस की गौरवगाथा को समर्पित है। इसमें शहीदों के बलिदान, तिरंगे के सम्मान और भारत की अखंडता की शपथ का वर्णन है। लेखक ने देशवासियों से शांति, प्रगति और प्रेम की राह अपनाकर भारत को सदैव अमर बनाए रखने का आह्वान किया है।
सभी शहीदों को शत-शत नमन एवं कोटि कोटि प्रणाम 🙏
जय हिन्द जय भारत वंदेमातरम् 🇮🇳