यह कहानी एक मध्यमवर्गीय परिवार की गर्मियों की छुट्टियों में गांव यात्रा के इर्द-गिर्द घूमती है।
यह केवल गांव जाने की कहानी नहीं है — यह जड़ों की ओर लौटने, परिवार की अहमियत समझने और उन मूल्यों को सहेजने की प्रेरणा देती है, जो आज के भागदौड़ भरे जीवन में कहीं खोते जा रहे हैं।